सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को कांग्रेस सांसद Rahul Gandhi को वीर सावरकर पर की गई टिप्पणी को लेकर सख्त चेतावनी दी है। कोर्ट ने उनके बयान को “गैर-जिम्मेदाराना” करार देते हुए कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों के खिलाफ किसी भी प्रकार की आपत्तिजनक टिप्पणी को स्वीकार नहीं किया जाएगा
न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति मनमोहन की खंडपीठ ने राहुल गांधी को चेतावनी दी कि अगर इस तरह की टिप्पणियां आगे भी की गईं तो अदालत स्वयं संज्ञान (suo motu) लेकर कार्रवाई कर सकती है।
🔹 कोर्ट की कड़ी टिप्पणी:
सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति दत्ता ने कहा,
“हम अपने स्वतंत्रता सेनानियों के खिलाफ कोई बयानबाजी नहीं होने देंगे। अगली बार कोई कहेगा कि महात्मा गांधी अंग्रेजों के नौकर थे?”
कोर्ट ने यह भी पूछा कि क्या Rahul Gandhi जानते हैं कि महात्मा गांधी ने भी वायसराय को पत्रों में ‘आपका आज्ञाकारी सेवक’ लिखा था, और उनकी दादी इंदिरा गांधी ने प्रधानमंत्री रहते हुए सावरकर की तारीफ की थी।
🔸 मामला क्या है?
यह पूरा विवाद नवंबर 2022 का है, जब राहुल गांधी ने भारत जोड़ो यात्रा के दौरान महाराष्ट्र के अकोला में वीर सावरकर को लेकर टिप्पणी की थी।
इस पर उत्तर प्रदेश के नृपेन्द्र पांडे नामक व्यक्ति ने आपराधिक शिकायत दर्ज कराई, जिसमें कहा गया कि राहुल गांधी ने सावरकर का “जानबूझकर अपमान किया”।
⚖️ सुप्रीम कोर्ट का आदेश:
- सुप्रीम कोर्ट ने अलाहाबाद हाईकोर्ट के उस आदेश को चुनौती देने वाली Rahul Gandhi की याचिका पर सुनवाई की, जिसमें ट्रायल कोर्ट की ओर से जारी समन को रद्द करने से इनकार किया गया था।
- कोर्ट ने फिलहाल ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही पर रोक (Stay) लगा दी है।
- साथ ही, शिकायतकर्ता नृपेन्द्र पांडे और उत्तर प्रदेश सरकार को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया गया है।
🔹 राजनीतिक प्रतिक्रिया:
बीजेपी ने इस फैसले का स्वागत करते हुए कहा,
“यह राहत नहीं है… यह एक सख्त चेतावनी है। अगर राहुल गांधी वीर सावरकर का अपमान करते रहे, तो उन्हें माफ नहीं किया जाएगा।”
यह बयान बीजेपी नेता सैयद शाहनवाज़ हुसैन ने दिया।
🗺️ Rahul Gandhi की अनुपस्थिति:
सुनवाई के दौरान राहुल गांधी कोर्ट में मौजूद नहीं थे।
वे जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले में थे, जहां उन्होंने पहलगाम आतंकी हमले में घायल लोगों से मुलाकात की।
इस हमले में 26 लोगों की मौत हुई थी और इसका जिम्मा The Resistance Front ने लिया है — जो कि लश्कर-ए-तैयबा से जुड़ा आतंकी संगठन है।
📌 निष्कर्ष:
सुप्रीम कोर्ट की यह चेतावनी राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा सकती है। आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा कि Rahul Gandhi और कांग्रेस पार्टी इस मुद्दे पर क्या रुख अपनाते हैं।